जीवन है पथ , मैं पथिक सखे !
इस पथ में ममता की आँधी
चलती रहती अवदात सखे,
इस पथ में माया की सरिता
बहती रहती दिन रात सखे !
साथी चलना बहुत दूर है
दूर बसा मम देश सखे,
चलते रहना प्रतिपल प्रतिक्षण
रुकना न कहीं लवलेश सखे !
आशाओं की कुटिल झाड़ियाँ
करती हैं उत्पात सखे,
इच्छाओं की अग्नि सुलग
करती रहती व्याघात सखे !
पाप पुण्य की अमा निशा में
करने को अभिसार सखे,
मैं निकली अपने उर में ले
मम प्रियतम का सुप्यार सखे !
बढ़ने देता किन्तु न आगे
अरमानों का भार सखे,
मेरे प्रियतम छिपे हुए हैं
दूर क्षितिज के पार सखे !
किन्तु तोड़ना ही होगा संसृति
का बंधन क्षणिक सखे,
करुणा 'किरण' बढ़ा कर मुझको
देना साहस तनिक सखे !
उमड़ पड़े नयनों से वारिद
रोक न पाऊँ इन्हें सखे,
देखो ह्रदय सिंधु है उमड़ा
पावस बन तुम्हें दिखाऊँ सखे !
किरण
क्षमा चाहती हूँ ! पता नहीं क्या हुआ कि पोस्ट प्रकाशित ही नहीं हुई ! मेरी भूल कि मैंने भी चेक नहीं किया ! लेकिन प्रसन्नता हुई यह देख कर कि आप सभी को रचना की प्रतीक्षा थी ! अब उसका आनंद लीजिए !
जवाब देंहटाएंदिल की गहराई से लिखी गयी एक सुंदर रचना , बधाई
जवाब देंहटाएंकिन्तु तोड़ना ही होगा संसृति
जवाब देंहटाएंका बंधन क्षणिक सखे,
करुणा 'किरण' बढ़ा कर मुझको
देना साहस तनिक सखे !
bahut hi khubsurat...waise to poori rachna hi suwasit hai
Taareef nahi karunga, vandan sweekarein :)
bahut hi sundar ...umda rachna..!!
जवाब देंहटाएंआशाओं की कुटिल झाड़ियाँ
जवाब देंहटाएंकरती हैं उत्पात सखे,
इच्छाओं की अग्नि सुलग
करती रहती व्याघात सखे !
बहुत सुन्दर अभिव्यक्ति....एक एक पंक्ति का सौंदर्य देखते ही बनता है
Nihayat sundar rachana! Sabhi is raah ke pathik hote hain,par itne samvedansheel nahi...!
जवाब देंहटाएंसुन्दर रचना. अवदात का अर्थ क्या है?
जवाब देंहटाएंBahut Sundar Rachan and really very nice..Regards
जवाब देंहटाएंThe Lines Tells The Story of Life....Discover Yourself....
बहुत अच्छी ,भाव पूर्ण रचना |
जवाब देंहटाएंआशा